छत्तीसगढ
पांच दिन बाद अपने पिता को देखकर ख़ुशी से झूम उठी बच्ची….
बिलासपुर। सिम्स (छत्तीसगढ़ आयुर्विज्ञान संस्थान) में छुटी तीन वर्ष की मासूम बच्ची को पांच दिन बाद उसका परिवार मिल गया है। गुरुवार को उसे लेने के लिए पिता के साथ उनके बड़े पिता आए थे। बच्ची के संबंध में प्रस्तुत दस्तावेज सही पाए जाने पर बच्ची को सौंपने की कार्रवाई चाइल्ड लाइन की टीम ने की। जैसे ही बच्ची ने अपने पिता को देखा, वैसे ही उसकी आंख खुशी से छलक उठी और अपने पिता को गले लगा लिया।
खबर पढ़ते ही उनका चेहरा खिला
इसमें बच्ची की फोटो व खबर छपी हुई थी। खबर पढ़ते ही उनका चेहरा खिल गया। इसके बाद चाइल्डलाइन से संपर्क किया गया। इस पर चाइल्ड लाइन के कार्डिनेटर पुरूषोत्तम पांडेय ने उन्हें गुरुवार को चाइल्ड लाइन के दफ्तर में बुलाया था। इसके बाद बच्ची के पिता और बड़े पिता दफ्तर पहुंच गए। उनके द्वारा दिखाए गए कागजात में संजय धूरी के बच्ची के पिता होने की पुष्टि होने पर सभी प्राथमिकता पूरी कर मासूम को पिता को सौप दिया गया।
दी गई समझाइश, मां का कराएं इलाज
बच्ची को सुरक्षित रखने में सिम्स के सोशल वर्कर आशुतोष शर्मा के साथ ही चाइल्ड लाइन के कार्डिनेटर पुरूषोत्तम पांडेय ने महत्ती भूमिका निभाई। वहीं बच्ची को सौंपने को दौरान पिता को समझाइश दी गई कि बच्ची की मां का पूरा इलाज कराएं, क्योंकि इस तरह की घटना फिर से घट सकती है। उन्हें बताया गया कि शहर से लगे ग्राम सेंदरी में राज्य मानसिक चिकित्सालय संचालित होता है, वहां पर मां का इलाज करा सकते हैं। इससे मां भी ठीक हो जाएगी और बच्ची का भविष्य भी बेहतर हो जाएगा।