भ्रष्टाचार बेकाबू: दमोह में जनपद सीईओ 20 हजार की रिश्वत लेते धराया, उमरिया में सचिव ने मांगे 10,000 रुपए
दमोह। मध्य प्रदेश में खुले आम भ्रष्टाचार चल रहा है। ताजा मामले दमोह और उमरिया के हैं। दमोह जिले की जनपद पंचायत पटेरा के मुख्य कार्यपालन अधिकारी (जनपद सीईओ ) को निर्माण कार्यों की राशि के भुगतान एवं नवीन कार्य स्वीकृति के एवज में 20 हजार रुपए की राशि लेते हुए लोकायुक्त सागर ने रंगे हाथों गिरफ्तार किया है।
इसी तरह, उमरिया जिले के मानपुर जनपद क्षेत्र अंतर्गत ग्राम पंचायत माला के सचिव को लोकायुक्त ने 10,000 की रिश्वत लेते हुए गिरफ्तार किया है।
दमोह मामले में कार्यवाहक उप पुलिस अधीक्षक मंजू सिंह ने बताया कि दमोह जिले की जनपद पंचायत पटेरा के मुख्य कार्यपालन अधिकारी भूरसिंह रावत द्वारा ग्राम पंचायत कुटरी के सरपंच रामकुमार मिश्रा से पुराने निर्माण कार्यों के भुगतान एवं नए कार्य स्वीकृत के संबंध में कुल राशि की 10% की राशि की मांग की जा रही थी।
इस पर सरपंच ने मंगलवार को 20 हजार रुपए देने की बात कही। लोकायुक्त की टीम ने मंगलवार सुबह पटेरा में सीईओ के निजी आवास पर सरपंच द्वारा 20 हजार रुपए की नगद राशि देते हुए रंगे हाथों गिरफ्तार किया है।
इस मामले में कार्यवाही के दौरान उप पुलिस अधीक्षक बी एम द्विवेदी, प्रधान आरक्षक महेश हजारी, आरक्षक सुरेंद्र सिंह, आशुतोष व्यास राघवेंद्र सिंह गोल्डी, साक्षी एवं अन्य स्वतंत्र पक्ष उपस्थित रहे।