जान जोखिम में डालकर स्कूल पहुंचते हैं छात्र, पुल नहीं बना तो सीढ़ी लगाकर पार करते हैं नाला…
पोड़ी उपरोड़ा विकासखंड के सिंदूरगढ़ क्षेत्र में संचालित एक प्राथमिक विद्यालय के छात्रों को जान जोखिम में डालकर हर दिन आना-जाना करना पड़ रहा है। घर से स्कूल जाने और घर लौटने के दौरान लकड़ी के पटरे के सहारे छात्र नाले को पार करते हैं। इस स्थिति पर विधायक ने चिंता जताई है। वहीं, प्रशासन ने विषय पर संज्ञान लेते हुए बताया कि नाले पर पुल का निर्माण स्वीकृत किया जा रहा है।
बारहमासी नाला बारिश के मौसम में और भी खतरनाक स्थिति में पहुंच गया है। शैक्षणिक सत्र के हर समय इसमें पानी रहता है और गांव के बच्चों को दूसरी तरफ स्थित स्कूल तक पहुंचाने के लिए इसी प्रकार से नाला पार करना होता है। सहारा देने के लिए लकड़ी का पत्र दोनों समय यहां पर बिछाया जाता है, ताकि अनहोनी न हो सके। समय के साथ अब बच्चे इस व्यवस्था के अभ्यस्त हो गए हैं। वहीं, क्षेत्र के विधायक तुलेश्वर सिंह ने व्यवस्था पर असंतोष जताया है।
विधायक ने कहा कि पिछले 20 वर्षों से कांग्रेस के विधायक रहे हैं। लेकिन फिर भी विकास के कार्य नहीं हुए इससे पहले भी कांग्रेस की सरकार थी। कांग्रेस के विधायक थे, लेकिन इस क्षेत्र का विकास अभी अटका हुआ है। काफी लंबे समय से स्कूल और शिक्षकों के अलावा कई गांव ऐसे हैं, जहां पुल नहीं है। मीडिया रिपोर्ट्स के जरिए सिंदूरगढ़ का या मामला प्रशासन के पास पहुंच गया है। इस पर ध्यान देने की बात कही जा रही है।
- कोरबा कलेक्टर अजीत वसंत ने बताया कि सिंदूरगढ़ के छात्रों से जुड़ी हुई समस्या को देखते हुए संबंधित नाला पर पुल का निर्माण कराया जाना स्वीकृत किया जा रहा है। जल्द ही इस दिशा में औपचारिकता है पूरी की जाएगी और फिर क्रियान्वयन प्रारंभ किया जाएगा। कुछ समय के बाद यहां जोखिम जैसी स्थिति का सामना विद्यार्थियों और आम लोगों को नहीं करना पड़ेगा।