मोहनभाठा में उतरे विदेशी मेहमान, थकान दूर कर भरी उड़ान
मोहनभाठा का यह मैदान स्थानीय पक्षियों के अलावा विदेशी पक्षियों का बसेरा बन गया है। अक्सर वह यहां उडान भरते नजर आ जाते हैं। कहते हैं न उम्मीदें जब पूरी हो जाए तो बांछे खुद-ब-खुद खिल उठती हैं। शुक्रवार को भी कुछ ऐसा ही हुआ। विदेश पक्षी यूरेशियन कर्ल्यू भी पक्षी प्रेमी सत्यप्रकाश पांडेय के कैमरे का मुख्य आकर्षण रहे। दिनभर की तलाश के बाद जब उन्होंने इन मेहमानों को देखा तो ऐसा लगा मानों जैकपाट लग गया हो। 16 की संख्या में एक साथ यह पक्षी मैदान में उतरे। वह बताते है कि इसके पहले साल 2020 में उन्होंने मोहनभाठा के इसी मैदान में आठ की संख्या में रिकार्ड किया। चार साल बाद दोबारा और वह भी दोगुनी संख्या में पक्षियों का आगमन यह बताता है कि उन्हें यहां की आबोहवा कितनी पसंद है। बेहद खूबसूरत विदेशी मेहमान की जीभर के तस्वीर कैमरे में कैद की। थोड़ी देर बाद पक्षियों का समूह अगले पड़ाव के लिए उड़ान भरा।
उत्तरी ध्रुव के विभिन्न देशों में पाए जाते हैं
यह पक्षी उत्तरी ध्रुव के विभिन्न देशों में पाए जाते हैं, वहीं प्रजनन भी करते हैं। हजारों मील तय कर भारत व अन्य देशों में पहुंचते हैं। यूरेशियन कर्ल्यू या कामन कर्ल्यू (न्यूमेनियस अर्क्वेटा) बड़े परिवार स्कोलोपेसिडे में एक वेडर है। यह यूरोप और एशिया में प्रजनन करने वाले कर्ल्यू में सबसे व्यापक रूप से फैला हुआ है। यूरोप में इस प्रजाति को अक्सर कर्ल्यू के रूप में संदर्भित किया जाता है और स्काटलैंड में इसे “व्हाउप” के रूप में जाना जाता है।
यूरेशियन कर्ल्यू की विशेषताएं
अपनी सीमा में सबसे बड़ा वेडर है।
लंबाई 50-60 सेमी (20-24 इंच) होती है।
पंख फैलाव 89-106 सेमी (35-42 इंच) तक।
शरीर का वजन 410-1,360 ग्राम (0.90-3.00 पाउंड) होता है।
यह मुख्य रूप से भूरे रंग का होता है।
पीठ सफ़ेद, पैर भूरे-नीले और बहुत लंबी घुमावदार चोंच होती है।
नर और मादा एक जैसे दिखते हैं, वयस्क मादा में चोंच सबसे लंबी होती है।
विभाग से पहल की उम्मीद
मोहनभाठा विदेशों से उतरने वाले पक्षियों का ठिकाना बन गया है। स्थानीय पक्षियों का भी पसंदीदा स्थान है। इतनी महत्वपूर्ण जगह होने के बावजूद वन विभाग ने अब तक यहां सुरक्षा, संरक्षण को लेकर ठोस कदम नहीं उठाए हैं। पक्षी प्रेमियों को विभाग से उम्मीद है कि कम से कम विभाग का मैदानी अमला दिन एक या दो बार इस क्षेत्र का दौरा करें। आसपास सर्चिंग करें। कई बार डिमांड रखी गई। लेकिन, विभाग लगातार इस विशेष स्थान को नजर अंदाज कर रहा है।